केस वन: प्रशिक्षित स्नातक 2021 गृह विज्ञान में चयनित कुमारी साक्षी को चयन बोर्ड ने एसएसवी इंटर कॉलेज मुरलीपुर मेरठ आवंटित किया था। जब वह कार्यभार ग्रहण करने पहुंची तो पता चला जगह रिक्त नहीं है।
केस टू: ओबीसी वर्ग के दिनेश भारती का प्रशिक्षित स्नातक 2021 कला में चयन हुआ। चयन बोर्ड ने श्रीजगजीवन राम इंटर कॉलेज अवांस नगसर गाजीपुर आवंटित किया। लेकिन पद खाली न होने से तैनाती नहीं हो सकी।
सहायता प्राप्त माध्यमिक स्कूलों में प्रशिक्षित स्नातक (टीजीटी) और प्रवक्ता (पीजीटी) 2021 की भर्ती सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में होने के बावजूद चयनित शिक्षक कार्यभार ग्रहण करने को भटक रहे हैं। उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड ने तो स्कूल आवंटन जारी कर दिया। लेकिन जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय और स्कूल प्रबंधन के स्तर से होने वाला खेल मेधावियों पर भारी पड़ रहा है।
अंतिम परिणाम घोषित हुए मुश्किल से अभी एक महीने हुए हैं और कार्यभार ग्रहण करने पहुंचे टीजीटी पद के लिए चयनित 16 शिक्षकों को वापस लौटाया जा चुका है। अपर निदेशक माध्यमिक डॉ. महेन्द्र देव ने 30 नवंबर को संयुक्त शिक्षा निदेशकों से रिक्त पदों का ब्योरा मांगा है।16 शिक्षकों में सबसे अधिक चार अयोध्या जिले के हैं। अयोध्या के विभिन्न स्कूलों में पदस्थापित सूरज पटेल, निर्मल कुमार, मुकेश प्रजापति ओर सुरजीत सिंह कार्यभार ग्रहण नहीं कर सके हैं। उन्नाव के स्कूलों में आवंटित तीन शिक्षक अखिलेश सिंह, बृजेश द्विवेदी और वेदरत्न आर्य भी परेशान हैं।
2016 की भर्ती में चयनित 50 से अधिक शिक्षक परेशान
ऐसा नहीं कि चयनित शिक्षकों को पहली बार तैनाती के लिए परेशान होना पड़ रहा है। हर बार नियुक्ति के बाद सैकड़ों शिक्षकों को स्कूल प्रबंधक लौटा देते हैं। पिछले साल पूरी हुई टीजीटी-पीजीटी 2016 के 50 से अधिक चयनित तैनाती के लिए भटक रहे हैं। चयन बोर्ड तीन बार समायोजन की लिस्ट जारी कर चुका है लेकिन दर्जनों चयनित ठोकर खा रहे हैं।