PM के पिता पर दिया बयान, 15 जिलों में 15 केस, असम पुलिस लेगी रिमांड पर

महाधिवेशन से पहले कांग्रेस के खिलाफ केंद्रीय एजेंसियों ने मानो मोर्चा खोल दिया है. पहले रायपुर में पार्टी नेताओं के कई ठिकानों पर छापेमारी की गई, और अब पार्टी के वरिष्ठ नेता और प्रवक्ता पवन खेड़ा को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया है. कोर्ट के आदेश के बाद उन्हें असम ले जाया जा सकता है. खबर लिखे जाने तक असम पुलिस दिल्ली पहुंच गई है और खेड़ा को रिमांड पर लिए जाने के लिए लीगल फॉर्मलिटीज पूरी की जा रही है।

असम पुलिस की तरफ से कहा गया है कि पवन खेड़ा की ट्रांजिट रिमांड के लिए लोकल कोर्ट में पेश किया जाएगा. पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि ‘पीएम मोदी के पिता पर विवादित टिप्पणी के लिए एक आदमी ने शिकायत दर्ज करवाई थी. हम लोगों ने इसी पर मामला दर्ज किया है. हमने दिल्ली पुलिस को जानकारी दी. हमने रिक्वेस्ट किया था कि उन्हें हिरासत में लिया जाए. अभी अरेस्ट नहीं हुए हैं, ट्रांजिट रिमांड मिलेगी तो असम लेकर जाएंग।

पीएम मोदी पर दिया बयान, असम के 15 जिलों में 15 केस

इससे पहले असम पुलिस के आईजीपी लॉ एंड ऑर्डर और प्रवक्ता प्रशांत कुमार भुयान ने बताया कि ‘हमने ही दिल्ली पुलिस से पवन खेड़ा को गिरफ्तार करने का अनुरोध किया था. हम उन्हें असम लेकर आएंगे. इसके लिए स्थानीय कोर्ट से इजाजत ली जाएगी.’ जानकारी के मुताबिक, पवन खेड़ा पर असम के 15 राज्यों में 15 केस दर्ज हैं. बताया जा रहा है कि उनकी गिरफ्तारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पिता पर टिप्पणी करने के एक मामले में की गई है. उन्हें अब दिल्ली से असम ले जाया जा सकता है।

कांग्रेस नेता पवन खेड़ा रायपुर जाने के लिए इंडिगो की फ्लाइट में थे. वह दिल्ली से उड़ान भरने वाले थे, तभी दिल्ली पुलिस की टीम एयरपोर्ट पहुंच गई और उन्हें फ्लाइट से उतार दिया. एयरपोर्ट पर कांग्रेस नेताओं की भारी भीड़ जमा थी, जहां उन लोगों ने धरना दिया. कांग्रेस ने पहले दावा किया था कि असम पुलिस ने खेड़ा को हिरासत में लिया है. इस बीच, इंडिगो के अधिकारियो ने कहा कि सभी यात्रियों को दूसरे विमान से रायपुर ले जाया जाएगा।

तानाशाही का दूसरा नाम अमितशाही

कांग्रेस ने खेड़ा को विमान से उतारे जाने को तानाशाही करार दिया है. पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने कहा, ‘पहले ईडी ने रायपुर में छापेमारी की, अब पवन खेड़ा को दिल्ली पुलिस द्वारा रायपुर के विमान से उतारा गया है .तानाशाही का दूसरा नाम अमितशाही है.’ उन्होंने कहा, मोदी सरकार हमारे राष्ट्रीय महाअधिवेशन को बाधित करना चाहती है. हम डरने वाले नहीं हैं, देशवासियों के लिए संघर्ष करते रहेंगे.’ पार्टी प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने सवाल किया कि ‘किस आधार पर खेड़ा को नीचे उतारा गया है? उन्होंने यह भी कहा कि क्या देश में कानून का कोई राज है या नहीं।

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