बीते वित्त वर्ष में खाद्य तेल क्षेत्र की प्रमुख कंपनी अडानी विल्मर को जबरदस्त मुनाफा हुआ है। इस दौरान अडानी विल्मर का मुनाफा 58 फीसदी बढ़कर 727.64 करोड़ रुपए पर पहुंच गया है।
बीते वित्त वर्ष में अडानी विल्मर ने 727.64 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ कमाया। इससे पिछले वित्त वर्ष में कंपनी ने 460.87 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ कमाया था। वित्त वर्ष के दौरान कंपनी की कुल आय 25 प्रतिशत बढ़कर 37,195.65 करोड़ पर पहुंच गई, जो इससे पिछले वित्त वर्ष में 29,766.98 करोड़ रुपए थी।
आईपीओ लाने की है तैयारी: अडानी विल्मर को ये मुनाफा ऐसे समय में हुआ है जब कंपनी अपना आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) लाने की तैयारी कर रही है। कंपनी ने भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के पास 4,500 करोड़ रुपए के आईपीओ के लिए दस्तावेज जमा कराए हैं। आईपीओ के जरिए कंपनी शेयर बाजार में लिस्टेड हो जाएगी। अहमदाबाद की कंपनी अडानी विल्मर फॉर्च्यून ब्रांड नाम से अपने खाद्य तेल और अन्य खाद्य सामान बेचती है।
रामदेव के रुचि सोया के लिए चुनौती: शेयर बाजार में खाद्य तेल क्षेत्र के प्रतिस्पर्धी अडानी विल्मर और रुचि सोया के बीच टक्कर की उम्मीद है। फिलहाल, रुचि सोया का शेयर भाव 1100 रुपए के स्तर को पार कर चुका है। वहीं, कंपनी का मार्केट कैपिटल 33 हजार करोड़ के करीब है। आपको बता दें कि साल 2019 में रुचि सोया का अधिग्रहण रामदेव की पतंजलि आयुर्वेद ने किया था।
रुचि सोया को खरीदने में अडानी विल्मर ने भी दिलचस्पी दिखाई थी। हालांकि, बाद में कंपनी ने अपना नाम वापस ले लिया था। अडानी विल्मर, अडानी समूह और सिंगापुर की विल्मर का बराबर हिस्सेदारी वाला ज्वाइंट वेंचर है। इस ज्वाइंट वेंचर का गठन 1999 में हुआ था।