देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक ने कोरोना वायरस महामारी के चलते प्रभावित हो रहे व्यापार के मद्देनजर आपातकालीन ऋण सुविधा की शुरुआत की है, ताकि ग्राहकों की नकदी की कमी को पूरा किया जा सके।
एसबीआई ने शुक्रवार को लेटर जारी कर रहा कि कोविड-19 आपातकालीन ऋण सुविधा (सीईसीएल) नाम से अतिरिक्त नकदी सुविधा की शुरुआत की गई है, जिसके तहत 200 करोड़ रुपये तक की धनराशि मुहैया कराई जाएगी और यह सुविधा 30 जून 2020 तक उपलब्ध होगी। इसके तहत 12 महीने की अवधि के लिए 7.25 प्रतिशत की ब्याज दर पर कर्ज दिया जाएगा। बैंक ने सभी शाखाओं को भेजे परिपत्र में कहा, जिन उधार लेने वालों का कारोबार कोविड-19 से प्रभावित हुआ है उन्हें कुछ हद तक राहत देने के लिए यह फैसला किया गया है कि योग्य कर्जदारों को अतिरिक्त तरलता ऋण सुविधा मुहैया कराई जाए। सीईसीएल मौजूदा संकट की स्थिति पर काबू पाने में करने में मदद करेगा।
बैंक ने कहा कि ऋण सुविधा उन सभी मानक खातों के लिए उपलब्ध है, जिन्हें 16 मार्च 2020 तक एसएमए 1 या 2 के रूप में वर्गीकृत नहीं किया गया है, वे इस ऋण सुविधा का लाभ उठा सकते हैं। विशेष उल्लेख खाता (एसएमए) की शुरुआत ऐसे खातों की पहचान करने के लिये की गई जिनमें एनपीए अथवा दबाव वाली परिसंपत्ति बनने की संभावना लगती है।